कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में बाकी राज्यों से आगे क्यों है केरल ?
कोरोना वायरस की महामारी से निपटने के लिए केरल सरकार अपना सर्वोत्तम दे रही है. जब पूरी दुनिया को एक जानलेवा वायरस ने जकड़ रखा है तो केरल एकता और आपसी सद्भाव की मिसाल पेश कर रहा है.
एक कहानी है सुहेल की, सुहेल दुबई से वापस लौटे तो उन्हें कोरोना वायरस से संक्रमित होने के चलते कासरगोड के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया. सुहेल जब 12 दिनों के बाद कोरोना संक्रमण से मुक्त हुए को अस्पताल से निकलते हुए उनका वीडियो वायरस हो गया. आपको बता दें कि कासरगोड केरल को सबसे ज्यादा संक्रमित जिला है.
केरल सरकार लगातार लोगों को सकारात्मक माहौल देने की कोशिश कर रही है. सुहेल का अस्पताल से निकलते हुए वीडियो वायरल हो रहा है. इस वीडियो में जब सुहेल अस्पताल से निकल रहे हैं. और अस्पताल में लोग तालियां बजा रहे हैं. केरल सरकार इस तरह के वीडियो को प्रमोट कर रही है. केरल सरकार रोजाना प्रेस ब्रीफिंग कर रही है. ट्वीट कर रही है.
मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन और राज्य के स्वास्थ्य मंत्री के.के. शैलजा हर दिन शाम 6 बजे राज्य के लोगों कोरोनावायरस से जुड़े सभी पहलुओं पर बताते हैं. इसके अलावा स्वास्थ्य मंत्री रोजाना ऐसे मरीजों की तस्वीरें अपने ट्वीटर हैंडल से साझा कर रही हैं जो कोरोना से लड़कर लौट रहे हैं. केरल के सीएम ने भी कहा है कि ‘हम इस बीमारी को दूर करेंगे’.
राज्य की स्वास्थ्य मंत्री के.के. शैलजा लगातार ऐसे लोगों की तस्वीरें शेयर करती हैं. उन्होंने बताया है कि ये राज्य की बड़ी उपलब्धि है कि यहां 60 साल से ज्यादा उम्र के लोग भी कोरोना संक्रमण से लड़ कर जीवित लौट रहे हैं. बीते शुक्रवार को स्वास्थ्य मंत्री ने उस नर्स की फोटो शेयर की जो कोरोना संक्रमित होने के बाद इलाज कराकर ठीक हुईं थीं.
ये रेशमा हैं. उम्र 32 साल है. ये हफ्ते भर अस्पताल में रहने के बाद जब घर गईं तो इन्होंने अपने साथियों और अपने आसपास के लोगों को कोरोना से लड़ाई के बारे में बताया. इकोनॉमिक टाइम्स की खबर के मुताबिक 7 मार्च से 20 मार्च के बीच संक्रमित मरीजों की रिकवरी में केरल सबसे आगे है. इस दौरान सक्रंमित मिले मरीजों में 84 फीसदी मरीज ठीक हुए हैं. यहांंकुल 17 फीसदी मरीजों को ठीक किया गया है.
केरल क मुख्यमंत्री लगातार लोगों से संवाद कर रहे हैं. और ये बताने की कोशिश कर रहे हैं कि जो लोग राज्य से बाहर काम करने के लिए जाते हैं. या फिर जो लोग दूसरे राज्यों से यहां आते हैं उन्हें परेशान नहीं किया जाना चाहिए. इससे पिछले हफ्ते उन्होंने तबलीगी जमात मामले पर भी कहा था कि वायरस जाति, धर्म देखकर हमला नहीं करता है. इस वक्त हम सब एक हैं और हम कोरोना के खिलाफ ये जंग जीतेंगे.