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जनसंख्या कानून के चक्कर में परेशान हुए बीजेपी MLA, बोले- ‘जब हमारे 6 हैं तो हम कैसे करें समर्थन’

जनसंख्या कानून का इस वक्त खूब हल्ला मचा है. बीजेपी और बीजेपी समर्थक दल इस कानून की खूब वकालत कर रहे हैं. लेकिन उत्तर प्रदेश के करीब 50 फ़ीसदी BJP MLA परेशान हैं.

नाम ना छापने की शर्त पर भारतीय जनता पार्टी के एक विधायक बताते हैं की जनसंख्या कानून तो ठीक है लेकिन वह इसका समर्थन करें भी तो कैसे क्योंकि उनके खुद के 6 बच्चे हैं. और वह इकलौते ऐसे विधायक नहीं है जिनके 6 बच्चे हैं. अगर आप यूपी विधानसभा की वेबसाइट पर चेक करेंगे तो आपको पता चलेगा कि बीजेपी के 304 विधायकों में से 152 विधायक ऐसे हैं जिनके तीन से आठ बच्‍चे हैं.

अगर आप को सिलसिलेवार तरीके से बताएं तो भारतीय जनता पार्टी के एक विधायक ऐसे हैं जिनके 8 बच्चे हैं, आठ विधायक ऐसे हैं जिनके 6 बच्चे हैं, 15 विधायक ऐसे हैं जिनके 5 बच्चे हैं, 43 विधायक ऐसे हैं जिनके 4 बच्चे हैं, 84 विधायक ऐसे हैं जिनके 3 बच्चे हैं. अब 3 या उससे ज्यादा बच्चे वाले विधायकों की समस्या यह है कि वह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ खड़े दिखाई दें या विरोध में. क्योंकि जनसंख्या नियमों का पालन तो उन्होंने भी नहीं किया. और अगर ऐसा कोई कानून आता है तो इससे प्रभावित योगी जी के करीब डेढ़ सौ विधायक होंगे ही.

उत्तर प्रदेश में जनसंख्या नियंत्रण कानून की पैरवी करने वाली सरकार जिन विधायकों के दम पर टिकी है उनमें से 152 विधायक इस कानून से प्रभावित होने वाले हैं. इसी कड़ी में हैरानी की बात यह है कि 8 बच्‍चों के पिता बीजेपी के सहयोगी ‘अपना दल’ के विधायक हरिराम ने विश्‍व जनसंख्‍या दिवस पर ट्वीट कर लोगों को कम बच्‍चे पैदा करने की नसीहत भी दी है. छह बच्‍चों के पिता विधायक रत्‍नाकर मिश्रा कहते हैं कि 5 बीवी, 25 बच्‍चे अब नहीं चलेगा.

यानी जिन्होंने खुद परिवार नियोजन की धज्जियां उड़ा दी वह जनसंख्या नियंत्रण कानून का झंडा बुलंद कर रहे हैं. भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की एक MLA ऐसी भी हैं. जिन्‍होंने छह बेटियों को जन्‍म दिया फिर आखिर में अजमेर शरीफ में मन्‍नत मांगने के बाद बेटा हुआ.

जनसंख्या कानून का ड्राफ्ट तैयार, अमल में आने का इंतजार

यूपी लॉ कमीशन ने दो बच्‍चे के कानून का ड्राफ्ट बनाया है, उसमें दो से ज्‍यादा बच्‍चे वालों को सरकारी सुविधाओं न देने और पंचायत चुनाव लड़ने पर रोक की बात है. इस ड्राफ्ट में और भी ऐसे बिंदु हैं जिससे उन लोगों को परेशानी होगी जिनके 2 से ज्यादा बच्चे हैं. लेकिन सवाल यह है कि उन विधायकों का क्या जो जनसंख्या नियंत्रण कानून की वकालत तो कर रहे हैं लेकिन खुद 6-6 बच्चों के बाप हैं.

जनसंख्या नियंत्रण कानून को लेकर राजनीति ऑनलाइन ने अजमेरी वर्मा से बात की, अजमेरी वर्मा एक वाकया सुनाते हुए कहा कि मेरी मां माधुरी वर्मा नानपारा विधानसभा की बीजेपी विधायक है. मेरी छह बड़ी बहने हैं. और मेरे लिए मेरी मां ने अजमेर के ख्वाजा गरीब नवाज के दर पर मत्था टेका था. और जब सातवीं संतान के रूप में मेरा जन्म हुआ तो मान मेरा नाम अजमेरी वर्मा रख दिया.

बीजेपी विधायक माधुरी वर्मा के अलावा और भी ऐसे बहुत से विधायक हैं जिनसे अगर योगी जी बात करेंगे तो उनका जनसंख्या नियंत्रण कानून खटाई में पड़ जाएगा. विपक्ष भी जनसंख्या कानून को लेकर योगी सरकार पर निशाना साध रहा है. विपक्ष का कहना है कि यह कानून एक वर्ग विशेष को ध्यान में रखें और लोगों का ध्यान भटकाने के लिए लाया जा रहा है.

इस मुद्दे पर बसपा सुप्रीमो मायावती ने तीन ट्वीट किए है जिसमें लिखा है-

1- अगर जनसंख्या नियंत्रण को लेकर यूपी भाजपा सरकार थोड़ी भी गंभीर होती तो यह काम सरकार को तब ही शुरू कर देना चाहिये था जब इनकी सरकार बनी थी और फिर इस बारे में लोगों में जागरूकता पैदा करती तो अब विधानसभा चुनाव के समय तक इसके नतीजे भी मिल सकते थे.

2- यूपी व देश की जनसंख्या को जागरूक, शिक्षित व रोजगार-युक्त बनाकर उसे देश की शक्ति व सम्मान में बदलने में विफलता के कारण भाजपा अब कांग्रेस की पूर्ववर्ती सरकार की तरह ही जोर-जबरदस्ती व अधिकतर परिवारों को दण्डित करके जनसंख्या पर नियंत्रण करना चाहती है जो जनता की नजर में घोर अनुचित है.

3- यूपी भाजपा सरकार द्वारा जनसंख्या नियंत्रण हेतु लाया जा रहा नया बिल, इसके गुण-दोष से अधिक इस राष्ट्रीय चिन्ता के प्रति गंभीरता व इसकी टाइमिंग को लेकर सरकार की नीति व नीयत दोनों पर शक व सवाल खड़े कर रहा है, क्योंकि लोगों को इसमें गंभीरता कम व चुनावी स्वार्थ ज्यादा लग रहा है

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