दिल्ली का निज़ामुद्दीन कोरोना संक्रमण को लेकर सुर्ख़ियों में आ गया है. यहां मार्च के महीने में एक धार्मिक आयोजन हुआ था. निज़ामुद्दीन में मुस्लिम संस्था तबलीग़ी जमात का हेडक्वॉर्टर हैं जहां ये आयोजन मार्च महीने में चल रहा था. इस आयोजन में शामिल हुए सैकड़ों लोगों को कोरोना संक्रमित होने का खतरा बढ़ गया है.
तबलीगी जमात का ये धार्मिक आयोजन देशभर में लागू लॉकडाउन के बावजूद हुआ और इसमें बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे. हालांकि तबलीग़ी जमात ने प्रेस रिलीज जारी करके ये बताया है कि जनता कर्फ़्यू के एलान के साथ ही उन्होंने अपना धार्मिक कार्यक्रम रोक दिया था. लेकिन पूरी तरह लॉकडाउन की घोषणा के कारण बड़ी संख्या में लोग वापस नहीं जा सके. इसमें शामिल सैकड़ों लोगों को कोरोना का खतरा बढ़ गया है.
बीजेपी ने बनाया मुद्दा
बीजेपी के सांसद राकेश सिन्हा ने इस्लामी धार्मिक संस्था तबलीग़ी जमात पर तीखी प्रतिक्रिया करते हुए कहा है ‘ये मानवता के खिलाफ है’ तबलीगी जमान के सम्मेलन में 2000 के क़रीब लोगों ने हिस्सा लिया था, जिनमें 250 के क़रीब विदेशी भी थे. इस सम्मलेन में शामिल होने वालों में से कई के कोरोना वायरस से पीड़ित होने की रिपोर्टें हैं. इस सम्मलेन में शामिल हुए सात लोगों की मौत भी हो चुकी है. राकेश सिन्हा कहते हैं, “कोरोना वायरस के बीच ये सम्मलेन कराना एक भारी भूल थी. इससे पूरे समाज को ख़तरा पैदा हो गया है.”
तबलीगी जमात क्या है?
ये एक धार्मिक संस्था है जो 1920 से चली आ रही है. दिल्ली में निज़ामुद्दीन इलाक़े में इसका हेडक्वॉर्टर है, जिसे मरक़ज़ भी कहते हैं. मौलाना आज़ाद नेशनल उर्दू यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर रहे जफ़र सरेशवाला तबलीग़ी जमात से सालों से जुड़े हैं. उनके मुताबिक़ ये विश्व की सबसे बड़ी मुसलमानों की संस्था है. इसके सेंटर 140 देशों में हैं. भारत में सभी बड़े शहरों में इसका मरक़ज़ है यानी केंद्र है. इन मरक़ज़ों में साल भर इज़्तेमा चलती रहती हैं. मतलब लोग आते जाते रहते हैं. कोरोना संक्रमण के पॉजिटिव मामले पाए जाने की खब़र फैली तब भी वहां इज्तेमा चली रही थी. इज्तेमा के दौरान हर राज्य से हज़ारों की संख्या में लोग आते हैं. हर इज्तेमा 3-5 दिन तक चलती है.
यूपी के कई राज्यों में अलर्ट
तबलीगी जमात ने यूपी के लोगों के लिए मुश्किलें बढ़ा दी हैं. बहराइच में 9 संदिग्धों को पकड़ कर मेडिकल परीक्षण के लिए भेजा है ट्रामा सेंटर में क्वॉरेंटाइन के लिए रखा गया है. मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सुरेश सिंह ने बताया कि खुफिया विभाग की रिपोर्ट पर इन सभी को एक मस्जिद से पकड़ा गया है. यह 12 मार्च को बहराइच आए थे उन्होंने बताया कि इनके सैंपल जांच के भेजे जा रहे हैं. जमात के कुछ लोग ताज मस्जिद में रुके थे.
जिन 9 लोगों को पकड़ा गया है उसमें सात थाईलैंड और दो भारत के हैं. इन लोगों का पता चलने के बाद पूरे जिले में डर का माहौल है. ये पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि ये लोग जिले में आकर किन लोगों से मिले हैं. क्योंकि इन लोगों के मिलने के बाद से बहराइच में भी कोरोना फैलने का खतरा बढ़ गया है.
रिपोर्ट: सय्यद रेहान कादरी, बहराइच