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हे भगवान! मोदी जी के मंत्रियों को क्या हो गया है?

After Nirmala Sitharaman, Piyush Goyal also trolls because of his statement

पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि ओला-उबर के चलते ऑटो सेक्टर में मंदी आई है. अब केंद्रीय रेल और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल अपने एक बयान की वजह से सोशल मीडिया पर ट्रोल किए जा रहे हैं. पीयूष गोयल ने आइंस्टीन और न्यूटन को सुर्खियों में ला दिया है.

पीयूष गोयल से सवाल- मौजूदा आर्थिक विकास दर को देखते हुए भारत पाँच लाख करोड़ की अर्थव्यवस्था कैसे बनेगा ?

जवाब- आप उस हिसाब-किताब में मत पड़िए जो टीवी पर देखते हैं कि 5 ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था के लिए देश को 12 प्रतिशत की रफ़्तार से बढ़ना होगा. आज यह 6 प्रतिशत की रफ़्तार से बढ़ रही है. ऐसे हिसाब किताब में मत पड़िए. ऐसे गणित से आइंस्टीन को गुरुत्वाकर्षण की खोज में मदद नहीं मिली. अगर आप बस बने बनाए फ़ार्मूलों और अतीत के ज्ञान से आगे बढ़ते तो मुझे नहीं लगता कि दुनिया में इतनी सारी खोज होती.

मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के सौ दिन पूरे होने पर चेन्नई में हुई एक प्रेस वार्ता के दौरान उनसे पूछा गया एक सवाल और उसका वित्त मंत्री का दिया हुआ जवाब. सुर्खियों में रहा था.

निर्मला सीतारमण से सवाल – सरकार गाड़ियों की बिक्री पर 28 प्रतिशत एसजीएसटी और 17 प्रतिशत सेस वसूल रही है जिसमें कुछ कटौती की जाये तो इससे ऑटो बिक्री बढ़ेगी. इस पर सरकार ने क्या विचार किया?

जवाब “मैं आपकी बात से सहमत हूँ. ये ठीक तर्क लगता है. पर यह भी सच है कि दो साल पहले तक भारतीय ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री का अच्छा समय रहा है. लेकिन कई कारण हैं जिसकी वजह से अब इसमें गिरावट दर्ज की जा रही है. बीएस-6 का आना और रजिस्ट्रेशन फ़ीस से संबंधित कारण इसमें शामिल हैं. इसके अलावा कुछ अध्ययन हुए हैं जो बताते हैं कि मिलेनियल (नई पीढ़ी के लोग) कोई नया वाहन ख़रीदने के लिए क़र्ज़ लेकर मासिक क़िस्तों में बंधना नहीं चाहते और सफ़र करने के लिए ओला और उबर जैसी सेवाओं या फिर मेट्रो से जाना बेहतर समझते हैं. ये सभी कारण ऑटो इंडस्ट्री पर असर डाल रहे हैं.”

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